श्रीनगर,। जम्मू-कश्मीर के नौगाम पुलिस स्टेशन में हुए भीषण
विस्फोट में मारे गए नौ लोगों में राज्य जाँच एजेंसी के इंस्पेक्टर इसरार
अहमद शाह भी शामिल थे।
इसरार अहमद शाह 2011 में पुलिस बल में शामिल
हुए थे के परिवार में पत्नी, दो छोटे बच्चे और बुजुर्ग माता-पिता हैं।
कुपवाड़ा जिले के द्रुगमुल्ला इलाके के रहने वाले शाह एक मृदुभाषी व्यक्ति
थे और अपने काम पर ज़्यादा ध्यान देते थे, ऐसा उनके पड़ोसी गुलाम मोहम्मद ने
बताया। पुलिस अधिकारी की एक मददगार व्यक्ति के रूप में भी प्रतिष्ठा थे, जो
उनके निधन की खबर गाँव में पहुँचते ही उनके घर पर उमड़े पड़ोसियों की भीड़ से
स्पष्ट था।
मृतकों में चयन श्रेणी कांस्टेबल जावेद मंसूर राथर और
अर्शीद अहमद शाह (दोनों क्राइम ब्रांच के फोटोग्राफर), चयन श्रेणी
कांस्टेबल ऐजाज़ अफ़ज़ल मीर और कांस्टेबल मोहम्मद अमीन मीर और शौकत अहमद भट
(तीनों फोरेंसिक साइंस लैबोरेटरी में कार्यरत) शामिल थे। नायब तहसीलदार
मुजफ्फर अहमद खान, इलाके के चौकीदार सुहैल अहमद राथर और दर्जी मोहम्मद शफी
पार्रे भी इस आकस्मिक विस्फोट में मारे गए।
पुलिस महानिदेशक नलिन
प्रभात ने बताया कि विस्फोट उस समय हुआ जब अधिकारियों की एक टीम सफेदपोश
आतंकी मॉड्यूल मामले की जाँच के दौरान ज़ब्त किए गए विस्फोटकों के नमूने
एकत्र कर रही थी। नलिन प्रभात ने कहा कि निर्धारित प्रक्रिया के तहत
बरामदगी के नमूनों को आगे की फोरेंसिक और रासायनिक जाँच के लिए भेजा जाना
था। बरामदगी की मात्रा को देखते हुए फोरेंसिक विज्ञान प्रयोगशाला की टीम
पिछले दो दिनों से यह प्रक्रिया कर रही थी।उन्होंने आगे कहा कि दुर्भाग्य
से इसी दौरान शुक्रवार रात लगभग 11.20 बजे एक आकस्मिक विस्फोट हुआ। इस घटना
के कारण के बारे में कोई और अटकलें लगाना अनावश्यक है।
पुलिस
महानिदेशक ने कहा कि विस्फोट में नौ लोगों की जान चली गई और 32 अन्य घायल
हो गए। उन्होंने बताया कि इस घटना में 27 पुलिसकर्मी, दो राजस्व अधिकारी और
आस-पास के इलाके के तीन नागरिक घायल हुए हैं।
जम्मू-कश्मीर विस्फोट में एसआईए इंस्पेक्टर, कांस्टेबल, राजस्व अधिकारी समेत नौ की मौत
