देहरादून। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने सोमवार को उत्तराखंड
में शीतलहर से बचाव के लिए राज्य सरकार के विभिन्न विभागों द्वारा किए जा
रहे कार्यों की समीक्षा की। उन्होंने शीतलहर से बचाव के लिए जरूरी उपायों
की निर्देशित किया ताकि आम जनता और विशेष रूप से जरूरतमंदों को कोई परेशानी
न हो।
मुख्यमंत्री ने अधिकारियों से कहा कि शीतलहर से बचाव के लिए
रेन बसेरों में सभी आवश्यक सुविधाएं सुनिश्चित की जाएं और इनका समय-समय पर
निरीक्षण किया जाए। इसके अलावा जरूरतमंदों को कंबल, दस्ताने, मौजे और अन्य
राहत सामग्री उपलब्ध कराई जाए। शीतलहर के दौरान अलाव की व्यवस्था की गई
है, इसके बारे में लोगों को सूचित किया जाए ताकि वे ठंड से बच सकें।
मुख्यमंत्री
ने बर्फबारी के कारण सड़कों पर यातायात बाधित न हो, इसके लिए आवश्यक
संसाधनों का उचित प्रबंधन सुनिश्चित करने को कहा। उन्होंने जिलाधिकारियों
से गर्भवती महिलाओं का डाटा तैयार रखने की बात की, ताकि किसी भी आपातकालीन
स्थिति में उन्हें त्वरित चिकित्सा सुविधा मिल सके। निराश्रित पशुओं के लिए
भी शीतलहर से बचाव के उपायों का निर्देश दिया गया।
मुख्यमंत्री ने
बैठक में यह भी कहा कि सरकारी योजनाओं का लाभ केवल पात्र व्यक्तियों तक ही
पहुंचे और किसी भी गलत तरीके से इसका फायदा न उठाया जाए। इसके अलावा
बद्रीनाथ, केदारनाथ, यमुनोत्री और गंगोत्री जैसे प्रमुख तीर्थ स्थलों पर
श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए भी आवश्यक व्यवस्थाएं सुनिश्चित करने के
निर्देश दिए।
38वें राष्ट्रीय खेलों के आयोजन के संदर्भ में भी
मुख्यमंत्री ने सभी विभागों से समन्वय के साथ कार्य करने की अपील की, ताकि
आयोजन सफलतापूर्वक संपन्न हो सके। बैठक में राज्य आपदा प्रबंधन विभाग के
अधिकारियों ने शीतलहर से बचाव के लिए उठाए गए कदमों की विस्तृत जानकारी दी।