इसके तहत द्विपक्षीय ऊर्जा व जलस्रोत संयंत्रों की बैठक
आयोजित करने, महाकाली सिंचाई (तीसरा चरण) की नहर से शुष्क मौसम में नेपाल
की ओर पानी भेजने, भारतीय सरकारी कंपनियों द्वारा निर्माणाधीन 900 मेगावाट
अरुण तृतीय और 669 मेगावाट लोअर अरुण जलविद्युत् परियोजनाओं में वन भूमि
उपयोग से जुड़ी समस्याओं के समाधान, नेपाल से भारत को अतिरिक्त बिजली
निर्यात की स्वीकृति तथा शीतकाल में बिजली आयात जैसे विषयों पर वार्ता हुई।
बैठक
में ऊर्जा मंत्रालय की सचिव सरिता दवाड़ी और चिरंजीवी चटौत, सहसचिव संदीप
कुमार देव, विदेश मंत्रालय के दक्षिण एशिया डेस्क के प्रतिनिधि तथा नेपाल
स्थित भारतीय दूतावास के अधिकारी उपस्थित रहे।
नेपाल–भारत ऊर्जा सहयोग पर संवाद: नेपाल के ऊर्जा मंत्री और भारतीय अतिरिक्त सचिव की बैठक
काठमांडू: नेपाल के ऊर्जा, जलस्रोत तथा सिंचाई मंत्री कुलमान
घिसिंग और भारत के विदेश मंत्रालय के अतिरिक्त सचिव मनु महावर के बीच
मंगलवार को सिंहदरबार स्थित मंत्रालय में महत्वपूर्ण बैठक हुई।
बैठक
में नेपाल–भारत के बीच ऊर्जा, जलस्रोत तथा सिंचाई क्षेत्र में सहयोग,
बिजली व्यापार, प्रसारण लाइन विस्तार तथा भारत की सरकारी कंपनियों के निवेश
में निर्माणाधीन परियोजनाओं की प्रगति सहित विभिन्न विषयों पर विस्तृत
चर्चा हुई।
ऊर्जा
मंत्री घिसिंग ने बताया कि शीतकाल के कुछ महीनों के लिए आवश्यक बिजली आयात
की स्वीकृति केवल दिसंबर के आखिरी सप्ताह तक ही मिली है इसलिए आगे के
महीनों के लिए भी 24 घंटे बिजली आयात की अनुमति देने का आग्रह किया गया है।
भारतीय विदेश मंत्रालय में नेपाल डेस्क के
प्रभारी अतिरिक्त सचिव मनु महावर ने कहा कि नेपाल में भारतीय कंपनियों
द्वारा निर्माणाधीन जलविद्युत् परियोजनाओं में आ रही समस्याओं के समाधान के
लिए नेपाल सरकार से सहयोग की अपेक्षा है। उन्होंने यह भी कहा कि
भारत–नेपाल के बीच विद्युत व्यापार और प्रसारण पूर्वाधार का विस्तार नए चरण
में प्रवेश कर रहा है और इसमें उल्लेखनीय प्रगति हासिल हुई है।
